मिलीबग पौधों को कोमल फली, टहनी और फसलों के विभिन्न भागों से रस चूसकर प्रकोपित करती हैं। इसके अतिरिक्त, कई अन्य कीटों की तरह, हनीवुड उत्सर्जित होता है जो काली कालिखदार फफूंद को जन्म देता है। मिलीबग का प्रभाव सबसे अधिक प्रभावित फसलें: कपास, गन्ना, अमरूद, आम, अनार आदि हैं। पेड़ की शाखाओं पर पहुंचकर इनके चारों ओर भारी संख्या में एकत्रित हो जाते हैं और यहां से वह फलों व पौधों का रस चूसते हैं। इससे शाखाएं व मंजरी सूख जाती हैं। जिस कारण फल नीचे गिर जाता है। मिलीबग कीट इस दौरान एक प्रकार का मीठा द्रव्य भी छोड़ता है, जिसे हनीडयू कहते हैं।
मिलीबग पौधों को कोमल फली, टहनी और फसलों के विभिन्न भागों से रस चूसकर प्रकोपित करती हैं। इसके अतिरिक्त, कई अन्य कीटों की तरह, हनीवुड उत्सर्जित होता है जो काली कालिखदार फफूंद को जन्म देता है। मिलीबग का प्रभाव सबसे अधिक प्रभावित फसलें: कपास, गन्ना, अमरूद, आम, अनार आदि हैं।
बुप्रोफेजिन 25% एससी@ 1 लीटर दवाई 1000 लीटर पानी, मोनोक्रोटोफ़ॉस 36% एसएल @ 1500 मिली दवाई 1000 लीटर पानी, एवं वर्टिसिलियम लेकानी 1.15% डब्ल्यूपी @ 2.5 किलोग्राम 500 लीटर पानी के साथ घोलकर छिड़काव करें।
Vegetative stages